विशाखापत्तनम, 8 अगस्त 2024: इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय (एमईआईटीवाई) के राष्ट्रीय ई-गवर्नेंस प्रभाग (एनईजीडी) द्वारा भारतीय प्रबंधन संस्थान (आईआईएम), विशाखापत्तनम के सहयोग से ‘आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई)/मशीन लर्निंग (एमएल) के अनुप्रयोग’ पर दो दिवसीय प्रशिक्षण कार्यक्रम का उद्घाटन आज किया गया। इस अवसर पर मुख्य अतिथि श्री जी. टी. वेंकटेश्वर राव, आईआरएस (सेवानिवृत्त), प्रधान आयकर आयुक्त ने कार्यक्रम का उद्घाटन किया।
कार्यक्रम का उद्देश्य और महत्व:
उद्घाटन भाषण में श्री वेंकटेश्वर राव ने बुनियादी ढांचे के विकास की आवश्यकता पर जोर दिया, जो आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस और मशीन लर्निंग के निर्बाध एकीकरण को सुनिश्चित करता है, साथ ही डेटा सुरक्षा और गोपनीयता की सुरक्षा भी करता है। उन्होंने बताया कि एआई और एमएल की शक्ति का उपयोग सरकारें नागरिकों की आवश्यकताओं का बेहतर अनुमान लगाने, प्रक्रियाओं को सुव्यवस्थित करने और डेटा-संचालित निर्णय लेने में कर सकती हैं।
प्रशिक्षण कार्यक्रम की विशेषताएँ:
इस प्रशिक्षण कार्यक्रम का उद्देश्य सरकारी अधिकारियों को एआई के प्रभावी कार्यान्वयन के लिए रणनीतियां प्रदान करना है। इसमें विनियामक चुनौतियों से निपटने, नैतिक मानकों का पालन करने और समझाने योग्य प्रथाओं को बनाए रखने पर जोर दिया जाएगा जो गोपनीयता नियमों के अनुरूप हों।
डिजिटल इंडिया के तहत क्षमता निर्माण:
डिजिटल इंडिया कार्यक्रम के अंतर्गत क्षमता-निर्माण योजना का उद्देश्य सभी सरकारी स्तरों पर पर्याप्त और प्रासंगिक क्षमताओं का निर्माण करना और ई-गवर्नेंस परियोजनाओं के लिए आवश्यकता-आधारित प्रशिक्षण प्रदान करना है। इस पहल के तहत बड़ी संख्या में सरकारी अधिकारियों को प्रशिक्षित करने और उन्हें प्रासंगिक कौशल में दक्ष बनाने के लिए निरंतर प्रयास किए जा रहे हैं।
प्रतिभागियों की जानकारी:
इस प्रशिक्षण कार्यक्रम में नई दिल्ली, केरल, लक्षद्वीप, तमिलनाडु, तेलंगाना, त्रिपुरा और पश्चिम बंगाल के 26 प्रतिभागियों ने भाग लिया। कार्यक्रम का उद्देश्य अधिकारियों को एआई और एमएल के अनुप्रयोगों में दक्ष बनाना और उन्हें डिजिटल गवर्नेंस के एकीकृत और मानकीकृत दृष्टिकोण से परिचित कराना है।